पूर्वांचल की धरती से निकला है प्रेम शांति का बीज : डा विनोद कुमार मल्ल
पूर्वांचल की धरती से निकला है प्रेम शांति का बीज : डा विनोद कुमार मल्ल
बुद्ध से कबीर तक निकाली गई पदयात्रा जिसमें अधिक संख्या में लोग शामिल रहे
गोला गोरखपुर।पूर्वांचल की धरती बुद्ध और कबीर की जन्मस्थली व कर्मस्थली रही है। जिन्होंने पूरे विश्व को शांति अहिंसा का पाठ पढ़ाया और जाति-पाति ऊंचनींच धर्म-संप्रदाय का विरोध किया। यह समाज के लिए अनोखा संदेश है। इनके कारण ही भारत सौहार्द का प्रतीक बनकर उभरता है। उक्त बातें गुजरात के डीजीपी रिफार्म डाॅ विनोद मल्ल ने कही। वे पांच दिवसीय बुद्ध से कबीर तक यात्रा के तीसरे दिन गुरुवार को भीटी गांव स्थित सुभाष चंद्र बोस आइटीआइ परिसर से पदयात्रा के बाद उपस्थित लोगों को संबोधित कर रहे थे। कहा कि भारत की साझी विरासत और साम्प्रदायिक सौहार्द को कायम रखने के उद्देश्य से विगत चार वर्षों आयोजित की जा रही यह यात्रा इस साल 16 से 20 मार्च तक गोरखपुर संतकबीरनगर और महराजगंज के विभिन्न स्थलों और संस्थानों में हो रही है। उन्होंने देश की युवा शक्ति की ताकत को समझाते हुए साम्प्रदायिक सौहार्द के महत्व की ओर इंगित किया। संस्था की संरक्षक अनुराधा मल्ल ने कहा कि संवैधानिक राष्ट्रवाद के साथ महात्मा गांधी के विचारों की देश को जरुरत है। जो विचार बुद्ध व कबीर से अनुप्राणित है। अंत में लोगों को उनकी स्वेच्छा से शान्तिकारी होने की शपथ दिलाई गई। अब्दुल कलाम व उनकी टीम के द्वारा प्रस्तुत कबीर भजन और सूफी गीतों पर लोग झूम उठे। वहीं वाराणसी से आए प्रेरणा कला मंच के कलाकारों द्वारा नाटक की प्रस्तुति के माध्यम से हिन्दू मुस्लिम एकता के बारे में खूबसूरती से सन्देश दिया गया। संचालन शिक्षक नेता व प्रवक्ता विवेकानंद मिश्र ने किया। समाजवादी विचारक राजेश सिंह ने स्वागत किया। इस मौके पर पूर्व मंत्री सागर पाठक आइएमए के अध्यक्ष डाॅ अनिल तिवारी प्रबंधक द्वारिका सिंह एमडी शक्ति सिंह भाजपा के जिला कोषाध्यक्ष शत्रुघ्न कसौधन बेचन सिंह रज्जू राय सत्यचरण लकी भारतेंदु दुबे रमाकांत पांडेय विद्याधर पांडेय सुनील दत्ता कबीर फादर आनंद ऋषभ क्षितिज सहित अन्य स्थानीय लोग भारी संख्या में मौजूद रहे।
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