हत्या में नहीं, दुर्घटना में गई थी रामप्रताप की जान
नेबुआ नौरंगिया थानाक्षेत्र के सिरसिया कला के टोला सुखारी छपरा निवासी रामप्रताप कुशवाहा की मौत मार्ग दुर्घटना में हुई थी। जांच के दौरान मिले साक्ष्यों के आधार पर पुलिस ने मंगलवार को इसका पर्दाफाश कर दिया।
प्रभारी निरीक्षक पवन कुमार सिंह ने पत्रकारों को बताया कि बीते 28 अप्रैल की रात साढ़े 12 बजे क्षेत्र के गांव सिरसिया कला के टोला सुखारी छपरा में अधेड़ की हत्या की खबर मिली। सूचना पर पहुंची पुलिस ने जांच-पड़ताल के बाद शव को कब्जे में ले लिया। शव की पहचान रामप्रताप कुशवाहा के रूप में हुई। मृतक के भाई ने अगले दिन चुनावी रंजिश में हत्या का आरोप लगाते हुए प्रधान पद प्रत्याशी समेत 27 नामजद तथा 20 अज्ञात के विरुद्ध तहरीर दी। तहरीर के आधार पर हत्या का मुकदमा दर्ज कर विवेचना शुरू की गई। पोस्टमार्टम रिपोर्ट में सिर में खून का थक्का बनने से मौत होने का कारण बताया गया। जांच के दौरान हत्या से जुड़े साक्ष्य न मिलने पर सूचना देने वाले युवक पर संदेह हुआ। इस आधार पर उसे व उसके साथ रहे दो अन्य युवकों से अलग-अलग पूछताछ की गई। शुरुआत में युवकों ने पुलिस को भटकाने की कोशिश की, लेकिन सख्ती बरतने पर सच उगल दिया। बताया कि मतदाताओं से संपर्क करने के लिए दो बाइक से तीन लोग जा रहे थे। गति तेज होने के कारण रामप्रताप की बाइक गांव में बने ब्रेकर पर अनियंत्रित होकर गिर पड़ी और बाइक का फुटगार्ड उनके सिर में जा धंसा, मौके पर ही मौत हो गई। अगले दिन चुनाव होने के कारण हत्या की अफवाह फैला दी गई ताकि विपक्षी प्रत्याशी व उसके समर्थकों को फंसा कर चुनाव में पराजित किया जा सके। एसएचओ ने बताया कि मामले में दर्ज हत्या के मुकदमे में एफआर लगाकर गलत सूचना देने वालों के विरुद्ध आवश्यक कार्रवाई की जाएगी।
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