विभिन्न मांग को लेकर वर्चुअल धरना एवं उपवास
उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षक संघ के प्रदेशीय नेतृत्व के आह्वान पर आयोजित वर्चुअल धरना प्रदर्शन एवं सामूहिक उपवास उपवास कार्यक्रम में जनपद बहराइच के सैकड़ों माध्यमिक शिक्षकों ने प्रतिभाग किया।
गूगल मीट पर आयोजित इस वर्चुअल धरना उपवास कार्यक्रम का संचालन जिलाध्यक्ष डॉक्टर दीनबन्धु शुक्ल ने किया।
3 घंटे तक अनवरत चले इस वर्चुअल उपवास कार्यक्रम में प्रदेश सरकार से मांग की गई कि प्रदेश के किसी भी जनपद में पंचायत निर्वाचन के दौरान दिवंगत हुए शिक्षकों के परिजनों को तत्काल एक करोड़ रुपये की सहायता राशि उपलब्ध कराई जाए । उनके आश्रित को शिक्षक की सेवा में नियोजित किया जाए । यह भी मांग की गई कि कोरोना संकट के कारण पिछले 1 वर्ष से वित्तविहीन शिक्षकों की आर्थिक स्थिति निरंतर खराब होती जा रही है । सरकार इस मुद्दे पर पूरी तरह से संवेदनहीन है। विद्यालयों को किसी भी प्रकार की शुल्क आय नहीं हो रही है। ऐसे विद्यालयों को और शिक्षकों को तत्काल कोरोना काल के लिए आर्थिक पैकेज उपलब्ध कराया जाए । जिलाध्यक्ष डा.दीनबन्धु शुक्ल ने कहा कि यह अत्यंत दुर्भाग्यपूर्ण है कि सरकार शिक्षकों के मुद्दों पर निरंतर उपेक्षा पूर्ण रवैया अपना रही है। वित्तविहीन शिक्षकों को तत्काल आर्थिक पैकेज दिया जाना चाहिए । मंडल अध्यक्ष घनश्याम मिश्र ने कहा कि सरकार एक तरफ शिक्षक विरोधी कार्य कर रही है दूसरी तरफ एस्मा जैसा कानून लगाकर शिक्षकों को डराने का काम कर रही है । शिक्षक समुदाय डरने वाला नहीं है आवश्यकता पड़ने पर वह सड़कों पर उतरेगा और अपनी मांगों के लिए आंदोलन करेगा। वित्तविहीन शिक्षकों को आर्थिक पैकेज ना देना दुर्भाग्यपूर्ण है इसकी घोर निंदा की जाती है।जिला मंत्री शशीन्द्र पाठक ने कहा कि कोरोना के कारण दिवंगत हुए शिक्षकों को सरकार द्वारा तत्काल एक करोड़ रुपए की सहायता राशि उपलब्ध करानी चाहिए और उनके परिजनों को तत्काल नौकरी देना चाहिए । गूगल मीट बैठक में हाई स्कूल की परीक्षा निरस्त करने और इंटरमीडिएट परीक्षा कराए जाने की व्यवस्था पर भी शिक्षकों ने विधिवत चर्चा किया। इस बात की मांग की गई कि सरकार को हाई स्कूल परीक्षा के लिए जमा कराई गई बोर्ड फीस तत्काल छात्रों को वापस करना चाहिए । इंटरमीडिएट परीक्षा के लिये परीक्षार्थियों को मॉडल पेपर भी उपलब्ध कराया जाना चाहिए। जिला उपाध्यक्ष मनोज कुमार पाण्डेय ने इस अवसर पर कहा कि सरकार अपनी नीतियों के लिए लेकर खुद ही दिग्भ्रमित है । किसी भी प्रकार का स्पष्ट मंतव्य प्रदर्शित नहीं कर पा रही है। इस अवसर पर जनपद स्तर की विभिन्न समस्याओं पर भी चर्चा की गई । जनपद में नवनियुक्त शिक्षकों के शपथ पत्र के आधार पर वेतन भुगतान तथा राजकीय शिक्षकों के भी तत्काल वेतन निर्गत कराने से संबंधित विषयों पर चर्चा की गई । साथ ही एनपीएस के सम्बन्ध में लंबित ब्याज को संबंधित शिक्षकों के प्रान खातों में पोस्टिंग जैसी समस्या पर तत्काल कार्यवाही की आवश्यकता बताई गई। गूगल मीट के माध्यम से आयोजित इस धरना मीटिंग में वित्तविहीन शिक्षक सत्यदर्शी सिंह ,अनुपम मिश्र ,पीयूष मौर्य तथा राजेंद्र मिश्र ने कहा कि सरकार का वित्तविहीन शिक्षकों के प्रति रवैया अत्यंत दुर्भाग्यपूर्ण है । शिक्षक संघ के द्वारा प्रदेश स्तर पर उठाई जा रही मांग पर निश्चित रूप से सरकार को ध्यान देना चाहिए। वित्तविहीन शिक्षकों के लिए आर्थिक पैकेज जरूर घोषित करना चाहिए । प्रधानाचार्य मधु चौधरी ,प्रधानाचार्य बृजेंद्र शर्मा, उपाध्यक्ष बैजनाथ सिंह, जगदंबा प्रसाद ,अरुण प्रकाश चौधरी , डा . राम रघुवंश मणि शुक्ल, कमलेश कुमार ,कैलाश प्रसाद, विजय कुमार ,प्रीति कौशल, पारुल यादव ,शब्बीर अहमद, वजीहुद्दीन अंसारी ,शरीफ अहमद, अजय यादव, दिवाकर पाण्डेय तथा सोनू मिश्र ने भी इस अवसर पर अपने विचारों को व्यक्त किया तथा सरकार की शिक्षक विरोधी नीतियों के लिए आगामी दिनों में आंदोलन आत्मक कदम उठाने के लिए शिक्षकों को तैयार रहने के लिए कहा।
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