स्वस्थ रहने के लिए शुद्ध पेयजल का उपयोग जरूरी...विपिन सिंह
जल जीवन मिशन के अंतर्गत राज्य पेयजल एवं स्वच्छता मिशन नमामि गंगे एवं ग्रामीण जलापूर्ति विभाग द्वारा आयोजित फील्ड टेस्ट किट द्वारा गाँव मे उपलब्ध पेयजल गुडवत्ता की जाँच कर WQMIS पोर्टल पर अपलोड कर जन समुदाय को को जल जनित रोगों से बचाव एवं शुद्धपेय की उपयोगिता एवं हर घर जल योजना को प्रभावी बनाने हेतु मनाने हेतु विकास खंड जंगल कौड़िया में चल रहे दो दिवसीय प्रशिक्षण में जिला समन्वय श्री विपिन सिंह ने प्रशिक्षण के प्रतिभागियों को संबोधित करते हुए कहा कि जल जनित बीमारियों से बचाव के लिए शुद्ध पेयजल की उपयोगिता होती जरूरी है यूनिसेफ उ. प्र के जल गुडवत्ता सलाहकार धर्मेन्द्र कुमार ने बताया कि विकास खण्ड चयनित प्रतिभागियों को चयनित किया गया है। जो प्रशिक्षण प्राप्त कर ग्राम पंचायतों में स्थापित पेयजल स्रोतों की जल गुणवत्ता की जांच कर भारत सरकार के पोर्टल पर अपलोड करने हेतु प्रत्येक ग्राम पंचायत से पांच पांच महिलाओं का चयन किया गया है इनको इस विषय पर विषय विशेषज्ञों द्वारा प्रशिक्षित किया जा रहा है। इन्होंने जल गुणवत्ता की जांच कर जल जनित बीमारी के कारण एवं निवारण की विस्तृत जानकारी देते हुए जैविक रासायनिक एवं भौतिक हेतु प्रशिक्षित किया राज्य पेयजल एवं स्वच्छता मिशन द्वारा उपलब्ध कराए गए फील्ड टेस्ट किट के माध्यम से जल के 11 पैरामीटर की जांच चयनित महिलाओं द्वारा जानी है जिसके लिए इन्हें दो दिवसीय प्रशिक्षण दिया जा रहा है जो कि राज्य पेयजल एवं स्वच्छता मिशन द्वारा नामित संस्था उद्यमिता विकास संस्थान लखनऊ के द्वारा प्रशिक्षण का आयोजन कर विकास खंड जंगल कौड़िया के समस्त राजस्व गांव से चयनित महिलाओं को प्रशिक्षित किया जा रहा है जिसके लिए जल निगम ग्रामीण को नोडल बनाया गया है। प्रशिक्षण कार्यक्रम में
बृजेश तिवारी ,शशि भूषण सिंह विभूति कुशवाहा एवं डी.पी.एम यू गोरखपुर टीम एवं यूनिसेफ के तकनीकी सहयोग से प्रशिक्षण प्रदान किया जा रहा है प्रशिक्षण के प्रतिभागियों में ग्राम पंचायतों के आशा एएनएम आंगनबाड़ी समूह महिला एवं ग्राम पेयजल स्वच्छता समिति के सदस्य एवं अध्यापक को सम्मिलित किया गया है प्रशिक्षण कार्यक्रम में खंड विकास अधिकारी एडीओ ग्राम विकास अधिकारी सहित मिथले श पाण्डेय वी पी मौर्या यूनिसेफ टीम सदस्य मौजूद रहे।
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